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शहीद वीरेंद्र कैवर्त की उपेक्षा से पूर्व सैनिकों और समाज में दर्द, नरगोड़ा में प्रतिमा व स्मारक की मांग...

बिलासपुर 22अगस्त 2025।बिलासपुर देश की रक्षा करते हुए पुलवामा (जम्मू-कश्मीर) में शहीद हुए वीरेंद्र कैवर्त की उपेक्षा से पूर्व सैनिकों और समाज में गहरी नाराज़गी और पीड़ा है। उनकी शहादत को अमर बनाए रखने के लिए आन पूर्व सैनिक कल्याण संगठन बिलासपुर और जिला मछुआ समाज बीते 6–7 वर्षों से निरंतर प्रयासरत हैं। इसी सिलसिले में दोनों संगठनों ने संयुक्त रूप से प्रेस क्लब में प्रेस वार्ता आयोजित की।
आन पूर्व सैनिक कल्याण संगठन के अध्यक्ष दत्तात्रेय यादव ने बताया कि शहीद वीरेंद्र कुमार कैवर्त भारतीय सेना की 225वीं मीडियम रेजीमेंट (तोपखाना रेजीमेंट) में सेवाएं दे रहे थे। डेपुटेशन पर वे 62 राष्ट्रीय राइफल्स के साथ तैनात थे। 15 सितंबर 2006 को जम्मू-कश्मीर के पुलवामा जिले के रेबन गांव में आतंकवाद विरोधी सर्चिंग अभियान के दौरान आईईडी ब्लास्ट में वे शहीद हो गए।

यादव ने कहा कि पिछले 18 वर्षों से शहीद के गृहग्राम नरगोड़ा (सीपत) में हर साल श्रद्धांजलि सभा आयोजित की जाती रही है। लेकिन शासन-प्रशासन ने अब तक शहीद के नाम पर कोई स्मारक या सरकारी भवन का नामकरण नहीं किया है, जो बेहद निराशाजनक है।

पूर्व सैनिक संगठन और मछुआ समाज ने घोषणा की कि इस वर्ष शहीद वीरेंद्र कैवर्त की 19वीं पुण्यतिथि (15 सितंबर) को नरगोड़ा में भव्य शहादत दिवस समारोह आयोजित किया जाएगा।
प्रेस वार्ता में जिला निषाद समाज के अध्यक्ष हर प्रसाद ने कहा कि समाज ने शासन, प्रशासन और नगर निगम को बार-बार आवेदन दिया है कि शहीद वीरेंद्र कैवर्त की प्रतिमा स्थापित की जाए और उनके नाम पर स्थायी स्मारक का निर्माण हो। उन्होंने कहा  “बिलासा दाई के नाम पर बसे इस शहर में यदि वीरेंद्र कैवर्त जैसे सपूत के बलिदान को सम्मान नहीं मिलेगा, तो यह नई पीढ़ी के लिए दुःखद संकेत होगा। शहीद के नाम पर स्मारक बनाकर ही युवाओं को प्रेरणा दी जा सकती है।”

कई वर्षों की मांग और प्रयासों के बाद शिक्षा विभाग ने पहल करते हुए नरगोड़ा के शासकीय स्कूल का नाम शहीद वीरेंद्र कैवर्त के नाम पर करने की प्रक्रिया शुरू की है। उल्लेखनीय है कि वीरेंद्र ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा इसी स्कूल से प्राप्त की थी। प्रेस वार्ता में पूर्व सैनिक कल्याण संगठन के सदस्य जयराम सिंह, मुकेश साहू, विजय कौशिक, रवि गोपाल, मोहनलाल जांगड़े, राजकुमार कोसले सहित मछुआ समाज के पदाधिकारी हर प्रसाद निषाद (अध्यक्ष), बीएस निषाद (उपाध्यक्ष), दीप कैवर्त (जिला अध्यक्ष) उपस्थित रहे और शहीद के सम्मान की मांग को लेकर अपने विचार रखे।

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